महोदय नमस्कार ,अपनी माता जी ,को मैंने एक अच्छे डॉक्टर से डेन्चर लगवाया था जो आज 8 महीने बाद भी सेट नहीं हो पाया है ,वो जब भी उसे लगाकर कुछ खा ले.. तो कई दिन तक मसूड़ों में जख्म हो जाते है ,डॉक्टर कहते है ऐसे ही मसूड़े पकेंगे ,अब तंग आकर वो उसका इस्तेमाल ही नहीं करती ,क्या वही डेन्चर सेट हो सकता है ?
उस डॉक्टर की काबिलियत पर मुझे शक है ...
यह प्रश्न एक जेंटलमेन ने इस ब्लॉग पर लिखी एक पोस्ट पर टिप्पणी के रूप में लिखा। जब मैं उन्हें इस का जवाब लिखने लगा तो मुझे लगा कि यह तो एक पोस्ट ही बन गई है जिस से दूसरों का भी फॉयदा हो सकता है, तो जनाब आप भी पढ़िए....
मैंने आप की माता जी की समस्या पढ़ी। कईं बार ऐसा होता है विशेषकर महिलाओं में कि वे या तो खराब-हिलते हुए दांत उखड़वाने में देर करती रहती हैं या फिर निकलवाने के बाद नकली दांत लगवाने में देर कर देती हैं. इस कारण से और वैसे भी बहुत सी भारतीय महिलाओं में जबड़े की हड्डी इतनी अच्छी हालत में बचती नहीं, कहने का मतलब कि वह इतनी अच्छी नहीं रह पातीं कि उस पर नकली दांत टिक पाएं......
बहरहाल, यह समस्या महिलाओं में अधिकतर नीचे वाले नकली दांतों के सैट के साथ ज़्यादा आती है.... लिखिएगा कि क्या उन्हें भी नीचे वाले सैट से ही समस्या है।
एक बात और अगर आप चाहें या मुनासिब समझें तो उन के नकली दांतों की एक फोटू और अगर अपने खींच सकें तो उन के मुंह के अंदरूनी हिस्से की एक फोटो ---बिना दांतों के ..... ऊपर और नीचे वाले मसूड़ों की अलग अलग, मुझे भेज दें।
वे तस्वीरें देखने से ही काफ़ी अंदाज़ा हो जाएगा।
चिंता न करें......हर बात का समाधान हो जाता है। मैं उस अनजान दंत चिकित्सक का पक्ष नहीं ले रहा हूं लेकिन अगर हड्डी ही कमजोर होगी तो नकली दांतों को टिकने में दिक्कत तो होती ही है. शायद उस ने पहले बता ही दिया होगा।
मेरे विचार में बिना मरीज़ को देखे, बिना कोई तस्वीर देखे, इतना ही पढ़ने से आप को काफ़ी अंदाज़ा लग गया होगा।
और एक बात कि अगर आप की मां जी ने उस सैट को निकाल कर बाहर रख दिया है, तो ठीक ही किया है, इस तरह के सैट से जो बार बार जख्म मुंह में हो जाते हैं ये असहनीय दर्द देते हैं......वैसे उन के मुंह के जख्मों के लिए तीन चार दवाईयां लिख रहा हूं..Dentogel/Dologel/Zytee/Emergel..इन में से कोई भी एक ले कर उन्हें कहें कि हाथ धोने के बाद उस जख्म में लगा दें और पांच मिनट बाद थूक दें।
ध्यान दें कि हाथ धोने के बाद वे उसे टावल आदि से पोंछें नहीं, बल्कि एक-दो मिनट में अपने आप हाथ सूखने के बाद ही उस दवाई की दो बूंदे उस जख्म पर लगाएं।
शुभकामनाएं..........और भी कुछ पूछना चाहें तो बेझिझक पूछिए।
उस डॉक्टर की काबिलियत पर मुझे शक है ...
यह प्रश्न एक जेंटलमेन ने इस ब्लॉग पर लिखी एक पोस्ट पर टिप्पणी के रूप में लिखा। जब मैं उन्हें इस का जवाब लिखने लगा तो मुझे लगा कि यह तो एक पोस्ट ही बन गई है जिस से दूसरों का भी फॉयदा हो सकता है, तो जनाब आप भी पढ़िए....
मैंने आप की माता जी की समस्या पढ़ी। कईं बार ऐसा होता है विशेषकर महिलाओं में कि वे या तो खराब-हिलते हुए दांत उखड़वाने में देर करती रहती हैं या फिर निकलवाने के बाद नकली दांत लगवाने में देर कर देती हैं. इस कारण से और वैसे भी बहुत सी भारतीय महिलाओं में जबड़े की हड्डी इतनी अच्छी हालत में बचती नहीं, कहने का मतलब कि वह इतनी अच्छी नहीं रह पातीं कि उस पर नकली दांत टिक पाएं......
बहरहाल, यह समस्या महिलाओं में अधिकतर नीचे वाले नकली दांतों के सैट के साथ ज़्यादा आती है.... लिखिएगा कि क्या उन्हें भी नीचे वाले सैट से ही समस्या है।
एक बात और अगर आप चाहें या मुनासिब समझें तो उन के नकली दांतों की एक फोटू और अगर अपने खींच सकें तो उन के मुंह के अंदरूनी हिस्से की एक फोटो ---बिना दांतों के ..... ऊपर और नीचे वाले मसूड़ों की अलग अलग, मुझे भेज दें।
वे तस्वीरें देखने से ही काफ़ी अंदाज़ा हो जाएगा।
चिंता न करें......हर बात का समाधान हो जाता है। मैं उस अनजान दंत चिकित्सक का पक्ष नहीं ले रहा हूं लेकिन अगर हड्डी ही कमजोर होगी तो नकली दांतों को टिकने में दिक्कत तो होती ही है. शायद उस ने पहले बता ही दिया होगा।
मेरे विचार में बिना मरीज़ को देखे, बिना कोई तस्वीर देखे, इतना ही पढ़ने से आप को काफ़ी अंदाज़ा लग गया होगा।
और एक बात कि अगर आप की मां जी ने उस सैट को निकाल कर बाहर रख दिया है, तो ठीक ही किया है, इस तरह के सैट से जो बार बार जख्म मुंह में हो जाते हैं ये असहनीय दर्द देते हैं......वैसे उन के मुंह के जख्मों के लिए तीन चार दवाईयां लिख रहा हूं..Dentogel/Dologel/Zytee/Emergel..इन में से कोई भी एक ले कर उन्हें कहें कि हाथ धोने के बाद उस जख्म में लगा दें और पांच मिनट बाद थूक दें।
ध्यान दें कि हाथ धोने के बाद वे उसे टावल आदि से पोंछें नहीं, बल्कि एक-दो मिनट में अपने आप हाथ सूखने के बाद ही उस दवाई की दो बूंदे उस जख्म पर लगाएं।
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