इंटरनेट पर किस किस तरह की दवाईयां खरीदी जा रही हैं और इन के कितने बुरे प्रभाव पड़ सकते हैं, इसे देखने के लिये बीबीसी न्यूज़ की इस स्टोरी पर क्लिक करें।
ऐसा कहा गया है कि ब्रिटेन में लगभग दो करोड़ लोग इंटरनेट पर दवाईयां खरीदते हैं और फिर इन के दुष्परिणामों से बचने के लिये डाक्टरों के चक्कर काटते रहते हैं।
बिना अपने डाक्टर से बात किये किसी भी दवाई को स्वयं ही ले लेना अच्छा खासा डेयरिंग का काम हैं। मैं अकसर सोचा करता था कि शायद हम लोग ही इतनी डेयरिंगबाज हैं लेकिन यहां तो ….।
एक बात यह भी है कि जो दवाईयां इंटरनेट से खरीदी जाती हैं वे जैन्यून होते हुये भी नुकसान कर सकती हैं कि क्योंकि आम व्यक्ति को न तो उस की खुराक का, न ही अन्य ड्रग-इंटरएक्शनज़ का पता रहता है इसलिये इस काम में बहुत लफड़ा है।
इन दवाईयों में सब तरह की दवाईयां शामिल हैं जैसे कि सैक्स से संबंधित तकलीफ़ों के लिये , वज़न कम करने हेतु और कुछ युवक तो इंटरनेट पर स्टीरॉयड्स जैसी दवाईयां खरीद कर खा रहे हैं और तरह तरह की बीमारियों को बुलावा दे रहे हैं।
जैसे जैसे आज की पीड़ीं नेट पर आश्रित सी हो रही है इस से लगता है कि आने वाले समय में यह ट्रैंड बड़ जायेगा---समय रहते ही समझ जाने में समझदारी है।
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खुली बिकने वाली दवाईयां
आप भी कहीं नईं दवाईयों से जल्द ही इंप्रैस तो नहीं होते
ऐसा कहा गया है कि ब्रिटेन में लगभग दो करोड़ लोग इंटरनेट पर दवाईयां खरीदते हैं और फिर इन के दुष्परिणामों से बचने के लिये डाक्टरों के चक्कर काटते रहते हैं।
बिना अपने डाक्टर से बात किये किसी भी दवाई को स्वयं ही ले लेना अच्छा खासा डेयरिंग का काम हैं। मैं अकसर सोचा करता था कि शायद हम लोग ही इतनी डेयरिंगबाज हैं लेकिन यहां तो ….।
एक बात यह भी है कि जो दवाईयां इंटरनेट से खरीदी जाती हैं वे जैन्यून होते हुये भी नुकसान कर सकती हैं कि क्योंकि आम व्यक्ति को न तो उस की खुराक का, न ही अन्य ड्रग-इंटरएक्शनज़ का पता रहता है इसलिये इस काम में बहुत लफड़ा है।
इन दवाईयों में सब तरह की दवाईयां शामिल हैं जैसे कि सैक्स से संबंधित तकलीफ़ों के लिये , वज़न कम करने हेतु और कुछ युवक तो इंटरनेट पर स्टीरॉयड्स जैसी दवाईयां खरीद कर खा रहे हैं और तरह तरह की बीमारियों को बुलावा दे रहे हैं।
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